19 जनवरी 24, मुरादाबाद। ग्राम प्रधान के चुनाव में नामांकन के दौरान दाखिल शपथ पत्र में अपराध छिपाना निर्वाचित प्रधान साजिद को भारी पड़ गया है। चुनाव जीतने के करीब ढाई साल बाद अदालत ने मोहम्मदपुर इब्राहिमपुर गांव के प्रधानी के नतीजे को शून्य घोषित करते हुए दूसरे नंबर पर मोहम्मद उस्मान को प्रधान निर्वाचित कर दिया है। गौरतलब है कि हाजी उस्मान की आपत्ति को तत्कालीन एसडीएम बिलारी ने निरस्त कर
डीपीआरओ को सौंपी आदेश की प्रति
जनपद की तहसील बिलारी की ग्राम पंचायत मोहम्मदपुर इब्राहिमपुर के प्रधानी चुनाव से जुड़ा है यह चर्चित मामला। वर्ष 21 के मई में हुए चुनाव में साजिद निर्वाचित हुए थे। नामांकन की जांच प्रक्रिया के दौरान तो साजिद के विरुद्ध कोई आपत्ति नही दी गई थी परन्तु चुनाव जीतने के उप विजेता प्रत्याशी रहे मोहम्मद उस्मान ने एसडीएम बिलारी के समक्ष उत्तर प्रदेश पंचायत राज अधिनियम 1947 की धारा 12 ग के तहत याचिका दाखिल की थी। उन्होंने कहा था कि साजिद द्वारा नामांकन पत्र के साथ जो शपथ पत्र दाखिल किया गया है उसमें वास्तविकता को छिपाया गया है। साजिद ने अपनी आयु 45 के बजाय 60 वर्ष अंकित की है।। अपने विरुद्ध दर्ज आपराधिक मुकदमे और वित्तीय संस्थान से लिया ऋण भी अंकित नहीं किया है। इसके अलावा साजिद का निवास थांवला में होने के कारण वो मुहम्मद इब्राहीमपुर का वोटर होने के भी हक़दार नहीं थे। मोहम्मद उस्मान के मुताबिक उनकी याचिका को तत्कालीन एसडीएम बिलारी द्वारा निरस्त कर दिया गया था। एसडीएम द्वारा याचिका निरस्त करने के बाद बाद मोहम्मद उस्मान ने वरिष्ठ अधिवक्ता वीरेंद्र शर्मा द्वारा जिला जज के समक्ष रिवीजन दाखिल किया जिसकी सुनवाई अपर जिला जज तीन मुरादाबाद द्वारा की गई। एक वर्ष से अधिक चली सुनबाई में लंबी बहस एवं तथ्यात्मक साक्ष्यों के आधार पर विद्वान जज सरोज कुमार यादव ने एसडीएम बिलारी का आदेश अपास्त करते हुए साजिद का निर्वाचन परिणाम शून्य घोषित करने के साथ ही उप विजेता मोहम्मद उस्मान निवासी ग्राम मोहम्मद इब्राहिमपुर को ग्राम प्रधान निर्वाचित किया है। वरिष्ठ अधिवक्ता वीरेंद्र शर्मा का मानना है कि विद्वान जज द्वारा निर्णय सुनाया गया है वह अपने आप में एक ऐतिहासिक निर्णय है। मोहम्मद उस्मान ने बताया कि उन्होंने अदालके फैसले की प्रति संबंधित अधिकारी को उपलब्ध करा दी है। उन्होंने उम्मीद जताई है कि जल्दी ही सरकारी तौर पर उन्हें प्रधान का कार्य सौंप दिया जाएगा। इस मामले में साजिद का पक्ष नहीं मिल सका है।